हापुड,सूवि(ehapurnews.com): प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में आज का सशक्त, सक्षम और आत्मनिर्भर भारत दुनिया को राह दिखा रहा है।हमें मेक इन इंडिया के साथ-साथ मेक फॉर वर्ल्ड के मंत्र के साथ आगे बढ़ना है, तभी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कालोकल टू ग्लोबल विजन साकार हो पाएगा। यह बातें बतौर मुख्य अतिथि, खादी और ग्रामोद्योग आयोग, सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय, भारत सरकार के अध्यक्ष मनोज कुमार ने हापुड़ के गढ़मुक्तेश्वर तहसील के नानपुर गांव में के.वी.आई.सी. के मंडलीय कार्यालय मेरठ द्वारा ग्राम विकास योजना के अंतर्गत आयोजित वितरण कार्यक्रम में कही। इस कार्यक्रम में हनी मिशन के अंर्तगत 30 मधुमक्खी पालकों को 300 मधुमक्खी बी-बॉक्स एवं बी-कालोनी, कुम्हार सशक्तिकरण योजना के अंतर्गत 100 कुम्हारों को विद्युत चालित चाक और 75 चर्मशिल्पियों को फुटवियर रिपेयरिंग टूलकिट प्रदान किये गए। गढ़मुक्तेश्वर विधानसभा के विधायक हरेंद्र सिंह तेवतिया विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित थे।
ग्राम विकास योजना के अंतर्गत आयोजित वितरण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अध्यक्ष, के.वी.आई.सी. मनोज कुमार ने कहा कि आप सभी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘आत्मनिर्भर भारत’ अभियान के ‘आर्थिक सिपाही’ हैं। आपको जो मशीनरी और टूल किट्स दी जा रही है आप उसका उपयोग कर ज्यादा से ज्यादा रोजगार का सृजन कीजिए और आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में अपना योगदान दीजिए।
खादी और ग्रामोद्योग आयोग के माननीय अध्यक्ष श्री मनोज कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री के संकल्पित इरादों ने 2014 के बाद खादी सेक्टर में नई जान फूंकने का काम किया है। खादी अब लोकल से ग्लोबल हो चुकी है। इसी का परिणाम है कि वित्त वर्ष 2022-23 में खादी और ग्रामोद्योग उत्पादों का टर्नओवर 31 जनवरी 2023 तक 1 लाख 8 हजार करोड़ के आंकड़े को पार कर गया।
वित्त वर्ष 2021-22 में खादी ग्रामोद्योग की बिक्री का आंकड़ा 1,15,000 करोड़ को पार कर गया। श्री कुमार ने कहा कि खादी की बिक्री में सुधार के साथ-साथ प्रधानमंत्री की खादी कामगारों की आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए आयोग ने खादी का काम करने वाले सभी कारीगरों की पारिश्रमिक में 1 अप्रैल 2023 से करीब एक साथ 35% की बढ़ोतरी की है, जो कि अपने आप में ऐतिहासिक कदम है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2014 के बाद से अब तक खादी कारीगरों के पारिश्रमिक में 150 प्रतिशत से ज्यादा की वृद्धि की जा चुकी है।
अध्यक्ष खादी और ग्रामोद्योग आयोग मनोज कुमार ने कहा कि ग्रामोद्योग विकास योजना के अंतर्गत किसानों की आय में ज्यादा से ज्यादा बढ़ोतरी के लिए आयोग हनी मिशन जैसी योजना चला रहा है। वर्ष 2017 से अबतक इस योजना के अंतर्गत 18 हजार किसानों और मधुमक्खी पालकों को 1 लाख 80 हजार से ज्यादा बी-बॉक्स और बी-कालोनी का वितरण किया जा चुका है। गढ़मुक्तेश्वर विधानसभा से विधायक हरेंद्र सिंह तेवतिया ने खादी और ग्रामोद्योग आयोग द्वारा गांव, शहर और कस्बों में चलाए जा रहे रोजगार कार्यक्रमों की सराहना की। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रेरणा से गांव-गांव तक रोजगार पहुंचाने के लिए खादी और ग्रामोद्योग आयोग लगातार प्रयत्नशील है, जिससे परम्परागत उद्योगों के कामगारों की आय में वृद्वि से उनके जीवन स्तर में व्यापक सुधार हो रहा है।
मण्डलीय कार्यालय मेरठ के अंतर्गत उत्तर प्रदेश के 6 मण्डलों के 25 जनपद आते हैं। इस कार्यालय में कुल 415 खादी संस्थायें पंजीकृत हैं। खादी संस्थाओं के माध्यम से 1,03,787 कत्तिन, बुनकर व अन्य कारीगरों को रोजगार प्रदान किया जा रहा है। वर्ष 2022-23 में खादी संस्थाओं द्वारा लगभग रु. 29,996 लाख का खादी उत्पादन और रु. 47,385 लाख की बिक्री की गई, जबकि पिछले तीन वर्षों में प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (PMEGP)के अंतर्गत 10,960 इकाइयां लगी हैं, जिससे लगभग 87,680 लोगों को रोजगार मिला है।वितरण कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश सरकार और के.वी.आई.सी के अधिकारी और कर्मचारीगण मौजूद रहे।
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