हापुड़, सीमन (ehapurnews.com): सनातन धर्म में गंगा दशहरा के पर्व का खास महत्व है। पौराणिक कथाओं के अनुसार इसी दिन मां गंगा पृथ्वी लोक पर अवतरित हुई थी और राजा भगीरथ के पूर्वजों को मोक्ष प्रदान किया था। ऐसा माना जाता है कि जीवनदायनी मां का गंगा की पूजा करने से सभी पापों का अंत होता है। हापुड़ के खुर्जा पेच में स्थित प्राचीन गंगा मंदिर से लोगों की आस्था जुड़ी हुई है। लगभग डेढ़ सौ वर्ष पुराने इस मंदिर में श्रद्धालु आकर मैया का आशीर्वाद लेते हैं और अपनी आस्था का परिचय देते हैं। मंदिर के मुख्य पुजारी पंडित प्रेम प्रकाश मिश्रा उर्फ पप्पू पंडित ने बताया कि रात के समय मंदिर में अक्सर पाजेब और पानी की आवाज आती है। EHAPUR NEWS किसी तरह के अंधविश्वास को बढ़ावा नहीं देता और ना ही इसका उद्देश्य किसी की आस्था को ठेस पहुंचाना है।
मंदिर के मुख्य पुजारी के दावों के अनुसार यहां अक्सर रात के समय पाजेब की आवाज आती है। पंडित प्रेम प्रकाश मिश्रा का दावा है कि गंगा मैया मंदिर में साक्षात विराजमान है जहां भक्त शिवलिंग, बजरंगबली, शेरावाली माता, राधा कृष्ण और शनि महाराज के दर्शन भी कर सकते हैं। आपको बता दें कि रविवार यानी 16 जून को गंगा दशहरा पर्व मनाया जा रहा है। यह प्राचीन गंगा मंदिर हापुड़ के अतरपुरा के पास खुर्जा पेच में स्थित है।
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